नरेंद्र मोदी की जीवनी, नरेंद्र मोदी का पूरा नाम, परिवार, आयु, शिक्षा, वेतन, राजनीतिक करियर, विवाद, Narendra Modi Biography in Hindi, Modi Family, Wife and Children, Age, Salary, Controversy

नरेंद्र मोदी का पूरा नाम, परिवार, आयु, शिक्षा, वेतन, राजनीतिक करियर, Narendra Modi Family, Wife and Children, Age, Salary, Controversy

नरेंद्र मोदी की जीवनी, Narendra Modi Biography In Hindi

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का नाम देश के सबसे लोकप्रिय और सफल नेता की सूची में शुमार है। नरेंद्र मोदी ने सन 2014, 2019 और 2024 में लगातार तीसरी बार प्रधानमंत्री के रूप में शपथ ली, जो भारत के राजनीतिक इतिहास में एक महत्वपूर्ण अध्याय है। 2014 में बीजेपी की बहुमत से जीत के लिये मोदी को ही श्रेय दिया जाता है। मोदी के कार्यकाल में माल और सेवा कर (जीएसटी), मेक इन इंडिया अभियान और स्वच्छ भारत अभियान जैसी ऐतिहासिक पहल देखी गईं। उन्होंने अनुच्छेद 370 को निरस्त करने, डिजिटल शासन में महत्वपूर्ण प्रगति और आत्मनिर्भर भारत पहल के कार्यान्वयन जैसे साहसिक कदम उठाएं। हालाँकि मोदी जी बहुत से विवादों में भी घिरे पाए गए हैं, लेकिन इनकी नीतियों की हमेशा प्रशंसा की जाती रही है। मालूम हो कि प्रधानमंत्री बनने से पहले मोदी ने 2001 से 2014 तक गुजरात राज्य के मुख्यमंत्री के रूप में कार्य किया है। मोदी पहली बार विधायक के रूप में गुजरात के मुख्यमंत्री बने और पहली बार सांसद के रूप में भारत के प्रधान मंत्री बने।

नरेंद्र मोदी का पूरा नाम – नरेंद्र दामोदरदास मोदी
नरेंद्र मोदी जन्म स्थान – वड़नगर, गुजरात, भारत
नरेंद्र मोदी का जन्म – 17 सितम्बर 1950
नरेंद्र मोदी की आयु – 74 साल
नरेंद्र मोदी के पिता का नाम – दामोदरदास मूलचंद मोदी (1989 में मूलचंद मोदी का निधन)
नरेंद्र मोदी की माता का नाम – हीराबेन (हीराबेन का निधन 30 December 2022 को 100 वर्ष की उम्र में हुआ)
नरेंद्र मोदी के भाइयों का नाम – सोमा मोदी, अमृत मोदी, प्रहलाद मोदी, पंकज मोदी
नरेंद्र मोदी की बहन का नाम – वसंती बेन हसमुख लाल मोदी
नरेंद्र मोदी की पत्नी का नाम – जशोदा बेन चिमनलाल मोदी
नरेंद्र मोदी की शिक्षा – मोदी ने गुजरात, वड़नगर से स्कूली शिक्षा के बाद 1978 में, दिल्ली विश्वविद्यालय से राजनीति विज्ञान में स्नातक (बीए), 1983 में गुजरात विश्वविद्यालय से राजनीति विज्ञान में एमए की डिग्री प्राप्त की।
नरेंद्र मोदी राजनीतिक दल – भारतीय जनता पार्टी
नरेंद्र मोदी वेतन – प्रधानमंत्री के पद पर पीएम मोदी की प्रति माह सैलरी 1 लाख 66 हजार रुपये है।

नरेंद्र मोदी का प्रारंभिक जीवन और शिक्षा, Narendra Modi’s Early Life and Education

नरेंद्र मोदी का जन्म 17 सितंबर, 1950 को गुजरात के वडनगर में, एक निम्न-मध्यम वर्गीय परिवार में हुआ था। बचपन में वो चाय बेचने में अपने पिता की मदद करते थे और बाद में खुद भी चाय का स्टॉल चलाया। मोदी 8 साल की उम्र में आरएसएस के संपर्क में आए और यहां से संगठन के साथ एक लंबा साथ शुरू हुआ। नरेंद्र मोदी ने वडनगर के स्थानीय स्कूल से अपनी स्कूली शिक्षा पूरी की, उन्होंने सन 1967 तक अपनी हायर सेकेंडरी तक की पढ़ाई पूरी कर ली थी। इसके बाद परिवार की आर्थिक स्थिति अच्छी न होने के कारण उन्होंने घर छोड़ दिया था। फिर मोदी ने सन 1978 में अपनी उच्च शिक्षा के लिए भारत के दिल्ली यूनिवर्सिटी में दाखिला लिया यहां से उन्होंने राजनीति विज्ञान स्नातक किया और फिर 1983 में गुजरात यूनिवर्सिटी से राजनीति विज्ञान में स्नातकोत्तर किया। वो साल 1985 में बीजेपी में शामिल हो गए। आरएसएस के साथ लंबे समय तक रहने के बाद, भारतीय जनता पार्टी में आये और फिर उनके राजनीतिक सफर में तब तीव्र गति आयी, जब वे गुजरात के मुख्‍यमंत्री चुने गये।

नरेंद्र मोदी का राजनीतिक करियर, Narendra Modi Political Career

बीजेपी के दिग्गज नेता और देश के उपप्रधानमंत्री रहे लालकृष्ण आडवाणी को पीएम मोदी का राजनीतिक गुरु माना जाता है। 1985 में नरेंद्र मोदी बीजेपी से जुड़े और अपने राजनीतिक करियर की शुरुआत की। मोदी की सक्रियता के चलते जल्द ही उन्हें पार्टी में बड़ी जिम्मेदारियां मिलने लगीं। 1988-89 में मोदी भारतीय जनता पार्टी की गुजरात ईकाई के महासचिव बनाए गए। इसके बाद मोदी ने पीछे मुड़कर नहीं देखा और सफलता की सीढ़ियां छूते गए। मोदी ने लाल कृष्ण आडवाणी की 1990 की सोमनाथ-अयोध्या रथ यात्रा के आयोजन में अहम भूमिका अदा की। इसके बाद वो भारतीय जनता पार्टी की ओर से कई राज्यों के प्रभारी बनाए गए। 1995 में मोदी को भाजपा का राष्ट्रीय सचिव और पांच राज्यों का पार्टी प्रभारी बनाया गया। इसके बाद 1998 में उन्हें महासचिव (संगठन) बनाया गया। इस पद पर वो अक्‍टूबर 2001 तक रहे। लेकिन 2001 में आए भूंकप ने गुजरात में काफी तबाही की। भूकंप में 20 हजार से ज्यादा लोग मारे गए थे। इस घटना के बाद तत्कालीन मुख्यमंत्री केशुभाई पटेल ने सीएम पद से इस्तीफा दे दिया था। इस घटनाक्रम के बाद मोदी को दिल्ली से गुजरात भेजा गया और इस तरह मोदी पहली बार गुजरात के मुख्यमंत्री बने।

मोदी के सत्ता संभालने के लगभग पांच महीने बाद ही गोधरा रेल हादसा हुआ जिसमें कई हिंदू कारसेवक मारे गए। इसके ठीक बाद फरवरी 2002 में ही गुजरात में मुसलमानों के खिलाफ़ दंगे भड़क उठे। इन दंगों में सरकार के मुताबिक एक हजार से ज्यादा और ब्रिटिश उच्चायोग की एक स्वतंत्र समिति के अनुसार लगभग 2000 लोग मारे गए। इनमें ज्यादातर मुसलमान थे। मोदी पर आरोप लगे कि वे दंगों को रोक नहीं पाए और उन्होंने अपने कर्तव्य का निर्वाह नहीं किया। जब भारतीय जनता पार्टी में उन्हें पद से हटाने की बात उठी तो उन्हें तत्कालीन उप प्रधानमंत्री लालकृष्ण आडवाणी और उनके खेमे की ओर से समर्थन मिला और वे पद पर बने रहे। मोदी पर आरोप लगते रहे लेकिन राज्य की राजनीति पर उनकी पकड़ लगातार मजबूत होती गई। मोदी के खिलाफ दंगों से संबंधित कोई आरोप किसी कोर्ट में सिद्ध नहीं हुए हैं। हालांकि, खुद मोदी ने भी कभी दंगों को लेकर न तो कोई अफसोस जताया है और न ही किसी तरह की माफी मांगी है। महत्वपूर्ण है कि दंगों के चंद महीनों के बाद ही जब दिसंबर 2002 के विधानसभा चुनावों में मोदी ने जीत दर्ज की थी तो उन्हें सबसे ज्यादा फायदा उन इलाकों में हुआ जो दंगों से सबसे ज्यादा प्रभावित थे। इसके बाद 2007 के विधानसभा चुनावों में उन्होंने गुजरात के विकास को मुद्दा बनाया और फिर जीतकर लौटे। फिर 2012 में भी नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भाजपा गुजरात विधानसभा चुनावों में विजयी रही। मोदी के अच्छे कामों के कारण गुजरात की जनता ने लगातार 4 बार (2001 से 2014 तक) मोदी को गुजरात का मुख्यमन्त्री चुना, जिसके बाद अब वे केंद्र में अपने नेतृत्‍व में सरकार चला रहे हैं।

2014 में पहली बार बने देश के प्रधानमंत्री
2014 में लोकसभा चुनाव हुए। एनडीए की तरफ से मोदी को प्रधानमंत्री पद का उम्मीदवार घोषित किया गया। मोदी की आंधी में एनडीए ने इस आम चुनाव में प्रचंड जीत हासिल की और मोदी देश के प्रधानमंत्री बने। उस दौरान भारतीय जनता पार्टी के नेतृत्व में पीएम मोदी ने 282 सीटें हासिल कीं। मोदी ने 26 मई 2014 को भारत के प्रधान मंत्री के रूप में शपथ ली थी। इसके बाद इसी तरह 2019 में हुए लोकसभा चुनाव के दौरान एक बार फिर पीएम मोदी ने इतिहास रचते हुए 30 मई को प्रधानमंत्री पद की शपथ ली और 31 मई को कैबिनेट का विस्‍तार किया। पीएमओ के अलावा डिपार्टमेंट ऑफ एटॉमिक एनर्जी, मिनिस्‍ट्री ऑफ पर्सनल, पब्लिक ग्रिएवांसेस एंड पेंशन, डिपार्टमेंट ऑफ स्‍पेस और वो सभी मंत्रालय स्‍वयं के पास रखे, जो किसी अन्‍य मंत्री को आवंटित नहीं हुए। इसके बाद 09 जून को 2024 को मोदी ने लगातार तीसरी बार प्रधानमंत्री पद की शपथ ली और इसी के साथ नरेंद्र मोदी पूर्व पीएम नहेरू के बाद लगातार तीसरी बार पीएम बनने वाले देश के दूसरे नेता बन गए हैं।

पीएम मोदी की सैलरी या वेतन, Narendra Modi Salary

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को हर महीने 1।66 लाख रुपये वेतन के रूप में मिलते हैं। इसमें 45,000 रुपये का संसदीय भत्ता, 3,000 रुपये का व्यय भत्ता, 2,000 रुपये का दैनिक भत्ता और 50,000 रुपये का मूल वेतन शामिल है। बाकी चीजें हटा दें तो पीएम मोदी को सैलरी के तौर पर प्रति माह केवल 50 हजार रूपये ही मिलते हैं।

प्रधानमंत्री के तौर पर नरेंद्र मोदी के मुख्य कार्य

1. नोटबंदी – प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 8 नवंबर 2016 को नोटबंदी जैसा बहुत ही अहम फैसला लेकर पूरे देश को चौका दिया था। मोदी ने रात आठ बजे दूरदर्शन के जरिए 500 और 1000 रुपये के नोट बंद करने का ऐलान किया था। नोटबंदी की यह घोषणा उसी दिन आधी रात से लागू हो गई। नोटबंदी से कई दिन तक देश में अफरा-तफरी का माहौल रहा और बैंकों के बाहर लंबी-लंबी कतारें नजर आईं। नोट बंद के बाद देश में 500 और 2000 रुपये के नए नोट जारी किए गए। यह मोदी सरकार द्वारा लिया गया एक ऐतिहासिक फैसला था।

2. जीएसटी – नोटबंदी के बाद पीएम मोदी ने 1 जुलाई 2017 से जीएसटी लागू कर दिया। इसके अंतर्गत देश में जितने भी टैक्स लगाये जाते थे, उन्हें एक साथ सम्मिलित कर दिया गया और एक टैक्स GST यानी Goods and Services Tax लगा दिया गया। यह भारत में विकसित एक व्यापक अप्रत्यक्ष कर प्रणाली है। इससे केन्द्र एवम् विभिन्न राज्य सरकारों द्वारा भिन्न भिन्न दरों पर लगाए जा रहे विभिन्न करों को हटाकर पूरे देश के लिए एक ही अप्रत्‍यक्ष कर प्रणाली लागू की जाएगी जिससे भारत को एकीकृत साझा बाजार बनाने में मदद मिलेगी। भारतीय संविधान में इस कर व्यवस्था को लागू करने के लिए संशोधन किया गया है। सरकार व कई अर्थशास्त्रियों द्वारा जीएसटी को स्वतंत्रता के पश्चात् सबसे बड़ा आर्थिक सुधार बताया है।

3. सर्जिकल स्ट्राइक – पीएम मोदी ने 2016 में उरी हमले के बाद पाकिस्तान को सबक सिखाने के लिए भारतीय सेना के साथ मिलकर सर्जिकल स्ट्राइक किया। सर्जिकल स्ट्राइक के दौरान 29 सितम्बर 2016 को भारतीय सेना ने बुधवार रात पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (LOC) में घुसकर 7 आतंकी शिविरों को ध्वस्त कर दिया, साथ ही 38 आतंकियों को भी मार गिराया।

4. एयर स्ट्राइक – 14 फरवरी 2019 को केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) के काफिले पर आत्मघाती हमला हुआ था। इस हमले में 40 भारतीय जवान शहीद हो गए। इस हमले की जिम्मेदारी मसूद अजहर के आतंकी संगठन जैश-ए-मोहम्मद ने ली। इसके बाद 40 जवानों की शहादत का बदला लेने के लिए एयर स्ट्रइक की गई। फरवरी में हुए पुलवामा हमले के बाद केंद्र सरकार की तरफ से देश के सभी सुरक्षा बलों को पाकिस्तान के खिलाफ किसी भी प्रकार का एक्शन लेने के लिए खुली छूट दे दी गई, जोकि बहुत ही बड़ा ऐलान था। 26 फरवरी 2019 के तड़के भारतीय लड़ाकू विमान मिराज 2000 के एक समूह ने एलओसी पार कर पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर में आतंकी कैंप पर बमबारी की और उसे पूरी तरह से नष्ट कर दिया। आतंकी कैंप पर 1000 किलो के बम गिराए गए थे। इस अभियान में 12 मिराज विमानों ने हिस्सा लिया था।

5. अनुच्छेद 370 का अंत – मोदी सरकार ने 5 अगस्त 2019 को जम्मू कश्मीर से अनुच्छेद 370 को हटा दिया था। जिसके बाद, जम्मू-कश्मीर का विशेष दर्जा खत्म हो गया और राज्य को दो केंद्र शासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर और लद्दाख में बांट दिया गया। इस फ़ैसले के लिए, भारत सरकार ने राष्ट्रपति के आदेश और संसदीय प्रस्ताव जारी किए थे। जम्मू-कश्मीर के अलग संविधान का भी अंत हो गया। केंद्र के इस फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में 23 अर्जियां दी गई थीं, सभी को सुनने के बाद सितंबर में कोर्ट ने फैसला सुरक्षित रख लिया था।

नरेंद्र मोदी की महत्वपूर्ण योजनाएं

1. जन धन योजना – 28 अगस्त, 2014 को प्रधानमंत्री मोदी द्वारा जन धन योजना की शुरुआत की गई थी। इस योजना के तहत गरीबी रेखा से नीचे जीवन यापन करने वाले लोग बैंक में जीरो बैलेंस अकाउंट खुलवा सकते हैं। जनधन बैंक खाते पर आमजन को चेक बुक, पासबुक, दुर्घटना बीमा के अलावा ओवरड्राफ्ट फैसिलिटी की सुविधा दी गई है। ओवरड्राफ्ट फैसिलिटी के तहत जनधन खाता धारक अपने अकाउंट में बैलेंस नहीं होने पर भी 10,000 रुपए तक की राशि निकाल सकते हैं। इस योजना का मकसद वित्तीय समावेशन (Financial Inclusion) यानी देश के गरीब से गरीब व्यक्ति को भी बैंकिंग सिस्टम से जोड़ना।
2. मिशन स्वच्छ भारत – 2 अक्टूबर, 2014 – 2 अक्टूबर, 2014 को स्वच्छ भारत मिशन देश भर में व्यापक तौर पर राष्ट्रीय आंदोलन के रूप में शुरू किया गया था। स्वच्छ भारत अभियान भारत सरकार द्वारा चलाया गया सबसे महत्वपूर्ण स्वच्छता अभियान है। जिसका उद्देश्य गलियों, सड़कों तथा अधोसंरचना को साफ-सुथरा करना और कूड़ा साफ रखना है।

3. मेक इन इंडिया – 28 सितम्बर, 2014 – मेक इन इंडिया योजना को पीएम मोदी द्वारा सितंबर 2014 में शुरू किया गया था। जिसका मकसद देश को विनिर्माण का वैश्विक केंद्र बनाना है। इस योजना के तहत, भारत में निवेश को आसान बनाया गया है और विदेशी निवेश के लिए नए क्षेत्र खोले गए हैं। मेक इन इंडिया के तहत सरकार और उद्योगों के बीच साझेदारी बढ़ी है। नवाचार और उद्यमशीलता को बढ़ावा मिला है। व्यापार में आसानी की गई है। रोज़गार के अवसर बढ़े हैं और देश की आर्थिक समृद्धि बढ़ी है। मेक इन इंडिया योजना आने के बाद से भारत को दुनिया की सबसे तेज़ी से बढ़ती अर्थव्यवस्थाओं में से एक माना जाने लगा है।
4. कौशल भारत मिशन – जुलाई 2015 में भारत सरकार द्वारा भारतीय कार्यबल के कौशल को बढ़ाने के उद्देश्य के साथ कौशल भारत मिशन की शुरुआत की गई इसे आधिकारिक तौर पर बड़े ‘मेक इन इंडिया’ और ‘डिजिटल इंडिया’ अभियानों के हिस्से के रूप में लॉन्च किया गया था।

5. सुकन्या समृद्धि योजना – बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ अभियान के तहत प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 22 जनवरी, 2015 में सुकन्या समृद्धि योजना की शुरुआता की। इसके तहत आर्थिक स्थिति ठीक न होने के कारण जो परिवार अपने बच्चों को पढ़ा नहीं सकते, खास तौर पर लड़कियों को, उनकी चिंता दूर करने के लिए सरकार सुकन्या समृद्धि योजना लेकर आई। इस योजना के तहत निवेश कर बेटी की पढ़ाई से लेकर शादी तक के खर्चे के पैसे जोड़ सकते हैं।
6. नमामि गंगे योजना- नमामि गंगे योजना 2014 में शुरु की गई मोदी सरकार की एक महत्वाकांक्षी पहल है। इस योजना का मकसद गंगा नदी को पुनर्जीवित करना है। इस योजना के तहत, गंगा नदी के प्रदूषण को कम करने, नदी के संरक्षण और कायाकल्प के लिए कई काम किए जा रहे हैं।

7. प्रधानमंत्री आवास योजना –  इस योजना के तहत देश के गरीब और बेघर लोगों को आवास बनवाने के लिए मोदी सरकार द्वारा सहायता राशि दी जाती है। इसका उद्देश्य गरीबी रेखा के नीचे जीवन यापन करने वाले नागरिक, को खुद का घर बनवाने में सक्षम करना है। प्रधानमंत्री आवास योजना के माध्यम से घर बनाने के लिए सरकार ग्रामीण क्षेत्र के लोगों को 1,30,000 और शहरी क्षेत्र के लोगों को 1,20,000 रूपये प्रदान करती है। इस राशि में ज्यादातर राज्य सरकारें भी सहयोग करती हैं, जिससे यह 2।5 लाख तक की आर्थिक सहायता बन जाती है। भारत सरकार के डेटा के मुताबिक पूरे देश में इस योजना के तहत अब तक 4 करोड़ से अधिक लोगों को आवास दिया जा चुका है।
8. उज्ज्वला योजना – 1 मई, 2016 को मोदी सरकार ने देश की महिलाओं की जिंदगी में बदलाव के मकसद से उज्ज्वला योजना की शुरुआत की थी। इस योजना के तहत बीपीएल कार्ड धारकों को मु्फ्त गैस कनेक्शन दिया जाता है और सब्सिडी पर एक साल में 12 गैस सिलिंडर मिलते हैं। सब्सिडी सीधे पात्र लाभार्थियों के बैंक खातों में जमा होती है। उज्ज्वला योजना के 1 मार्च 2023 तक 9।59 करोड़ लाभार्थी हैं। केंद्र सरकार ने इसके विस्तार की भी योजना बताई है, जिसके तहत 2023-24 से 2025-26 तक 3 वर्षों में 1650 करोड़ रुपये की लागत से 75 लाख नए उज्ज्वला एलपीजी कनेक्शन जारी किए जाएंगे।

9. आयुष्मान भारत योजना- देश के गरीब और आर्थिक रूप से कमजोर नागरिकों के स्‍वास्‍थ्‍य का खयाल रखने के उद्देश्‍य से मोदी सरकार ने आयुष्मान भारत योजना की शुरुआत की है। इसमें आयुष्मान कार्ड धारकों को 5 लाख रुपए तक के मुफ्त इलाज की सुविधा मिलती है। दवाई की लागत, चिकित्सा आदि का खर्च सरकार वहन करती है। इस योजना के पात्र लोग आयुष्‍मान कार्ड के जरिए सरकार द्वारा सूचीबद्ध अस्‍पतालों में मुफ्त में इलाज करवा सकते हैं।
10. सांसद आदर्श ग्राम योजना- सांसद आदर्श ग्राम योजना (एसएजीवाई) के तहत, सांसद किसी ग्राम पंचायत को गोद लेते हैं और उसकी समग्र प्रगति के लिए काम करते हैं। इस योजना का मकसद, ग्रामीणों को सशक्त बनाना है ताकि वे अपने गांव का विकास कर सकें।
11. श्रमेव जयते योजना – श्रमेव जयते योजना जिसे पंडित दीनदयाल उपाध्याय श्रमेव जयते कार्यक्रम के नाम से भी जाना जाता है, 16 अक्टूबर 2014 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने दिल्ली के विज्ञान भवन में आयोजित एक समारोह में श्रमेव जयते योजना की शुरुआत की। इस योजना का मुख्य उद्देश्य श्रम कानूनों में सुधार और श्रम प्रक्रिया में सुधार करना है।

12. प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना – भारत की बड़ी आबादी को सुरक्षित करने के उद्देश्‍य से प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना को साल 2015 में शुरू किया गया था। पहले इसका सालाना प्रीमियम 12 रुपए था, जिसे 1 जून 2022 से बढ़ाकर 20 रुपए कर दिया गया। इस योजना में आपको 2 लाख रुपए का दुर्घटना बीमा कवर मिलता है। अगर आपकी उम्र 18 से 70 साल के बीच है तो आप साल में सिर्फ 20 रुपए देकर 2 लाख तक का कवरेज देने वाली इस सुरक्षा बीमा योजना को खरीद सकते हैं।
13. जीवन ज्योति बीमा योजना, प्रधानमंत्री – 9 मई, 2015 – यह स्‍कीम बीमाधारक की मृत्‍यु होने की स्थिति में उसके परिवार को 2 लाख तक की आर्थिक मदद दिलाती है। आप मात्र 436 रुपए सालाना का प्रीमियम भरकर इस स्‍कीम का लाभ ले सकते हैं। इस पॉलिसी को खरीदने के लिए आपकी न्यूनतम आयु 18 वर्ष, वहीं अधिकतम आयु 55 वर्ष तय की गई है। बीमा प्रीमियम खाताधारक के खाते से ऑटो डेबिट किया जाता है। पीएमजेजेबीवाई की केंद्रीय बजट 2015-16 के दौरान घोषणा की गई थी।

14. प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना – देश के छोटे, लघु और सीमांत किसानों को खेती करने में आर्थिक मदद देने के लिए केंद्र सरकार पीएम किसान सम्मान निधि योजना चलाती है। इस योजना के तहत केंद्र सरकार देश के किसानों को सालभर में 6000 रुपए की आर्थिक सहायता देती है। ये पैसे 2-2 हजार की तीन किस्तों में सीधे किसान लाभार्थियों के बैंक खाते में ट्रांसफर होते हैं। इस योजना में जमीन, आय के स्रोत और कुछ दूसरे पैमानों को देखते हुए लाभार्थियों की पात्रता तय की जाती है।
15. स्टार्ट-अप इंडिया – स्टार्टअप इंडिया, भारत सरकार की एक पहल है जिसका मकसद देश में स्टार्टअप्स को बढ़ावा देना और नया कारोबार करने के लिए एक मज़बूत माहौल बनाना है। इस योजना के तहत, देश में रोज़गार के अवसर बढ़ाने और आर्थिक विकास को बढ़ावा देने पर ध्यान दिया जाता है।

16. प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना – मोदी सरकार ने इस योजना की शुरुआत मार्च 2020 में की थी। कोरोना महामारी के चलते लॉकडाउन के दौरान इस स्‍कीम को शुरू करके 80 करोड़ लोगों को मुफ्त अनाज उपलब्ध कराया गया था। केंद्र सरकार इस योजना को कई बार बढ़ा चुकी है। फिलहाल इस योजना का लाभ दिसंबर 2023 तक लिया जा सकता है। पीएम गरीब कल्याण अन्न योजना के माध्यम से देश के 80 करोड़ नागरिकों को हर महीने 5 किलो गेहूं या चावल मुफ्त प्रदान किए जाते हैं।
17. प्रधानमंत्री विश्वकर्मा योजना – प्रधानमंत्री विश्वकर्मा योजना 17 सितंबर 2023 को कारीगरों और शिल्पकारों को ध्यान में रखकर लाया गया था। इस योजना का उद्देश्य देश के कारीगरों की क्षमताओं को बढ़ाना है। इस योजना का फायदा बढ़ई, सुतार, मूर्तिकार, कुम्हार समुदाय के कारीगरों को मिल रहा है। योजना के पहले चरण में 1 लाख तक कर्ज दिया जाएगा। ब्याज की दर भी इस पर 5% से ज्यादा नहीं होगी। इसके बाद दूसरे चरण में कामगारों को 2-2 लाख रुपये कर्ज मिलेगा।

नरेंद्र मोदी से जुड़े कुछ विवाद, Narendra Modi Controversy

1. सन 2002 में हुआ गुजरात दंगा मोदी के करियर का सबसे बड़ा विवाद था, कई आलोचकों का कहना था, कि मोदी इस दंगे को भड़काने के मास्टरमाइंड हैं। हालांकि सुप्रीम कोर्ट ने गुजरात दंगों पर मोदी को क्लीनचीट दे दी है।
2. गुजरात दंगे में मोदी का नाम आने से यूनाइटेड स्टेट्स ने उनका वीसा कैंसिल कर दिया गया था।
3. सन 2002 में तीस्ता सीतलवाड़ ने अपने पति की हत्या के लिए मोदी को जिम्मेदार ठहराया था।
4. नरेंद्र मोदी को इशरत जहाँ के फेक एनकाउंटर के लिए भी जिम्मेदार ठहराया गया था।
5. नरेंद्र मोदी के वैवाहिक स्थिति को लेकर भी अक्सर विवाद खड़ा हो जाता है।
6. 2015 में नरेंद्र मोदी ने 10 लाख रूपये का एक सूट पहना था, जिसमें उनका नाम लिखा हुआ था। इस सूट को लेकर भी कई विवाद हुए, आलोचकों ने जमकर मोदी की अलोचना की।
7. 10 अगस्त 2018 में भारतीय संसद में पहली बार ऐसा हुआ था, कि प्रधानमंत्री की किसी टिप्पणी को राज्य सभा के रिकॉर्ड से हटा दिया गया। राज्य सभा के उपाध्यक्ष के रूप में हरिवंशराय नारायण सिंह के चुनाव के बाद, अपने भाषण में, हरिवंश को बधाई देते हुए, पीएम मोदी ने कहा, कि चुनाव दो हरी के बीच में था।